
दिग्गज भाजपा नेता व हरियाणा प्रदेश प्रभारी डॉ. सतीश पूनिया को उनके शुभचिंतक की ओर से एक पत्र लिखा गया है. पत्र में जयपुर के कुलदीप सिंह देथा ने पुत्र महीप के विवाद की शुभकामनाओं के साथ सतीश पूनिया के संघर्ष का स्मरण करते हुए और मृदुल व सरल स्वभाव का जिक्र किया है. कुलदीप सर्वप्रथम चिरंजीव पुत्र महिप व सौभाग्य आकांक्षिणी पुत्रवधु सिम्पी के परिणय उत्सव के लिए बधाई एवं शुभकामनाएं प्रदान करते हुए लिखते हैं कि भगवती जगदंबा से दोनों के सफ़ल, आनंदमय व सुन्दर वैवाहिक जीवन के लिए प्रार्थना करता हूं. कोविड रूपी महासंकट के समय आप जनता की सेवा के लिए पूर्णरूप से उपलब्ध थे. तब ट्विटर के माध्यम से आपसे संपर्क हुआ था. उस समय ईश्वर कृपा से जैसा संभव हो सका आपने मानवता पर आए संकट के क्षणों में पूर्ण सहयोग किया था.
उन्हीं दिनों आपसे संपर्क हो गया था। मैं आपके जन्मदिन, होली, दीपावली या विशेष दिनों पर व्हाट्सएप संदेश भेजता रहता था. समय ने एक दिन ऐसा विधान रचा कि मेरे निजी स्वार्थ पूर्ति हेतु एक दिन आपसे मिलने भी आया था. आपसे बात भी हुई आपने मेरी समस्या को अच्छे से सुना भी पर उस समय मैंने कोविड के समय बनी पहचान को उजागर नहीं किया था.
यह महत्वपूर्ण नहीं है कि मेरा वो स्वार्थ सिद्ध हुआ या नहीं मगर आपने पास बैठा कर तन्मयता से सुना, मुझे भरोसा दिया, उससे मुझे आपके राजनीतिक नेतृत्व पर अटल भरोसा जागृत हुआ. अभी आपके परिवार में हर्ष का उत्सव है. इस दौरान आपकी टीम द्वारा मुझे विवाह समारोह के लिए निमंत्रण भेजा गया. इसको देखकर मन इतना प्रसन्न हुआ कि उसकी व्याख्या करना संभव नहीं है. संभव है कि आपने लाखों लोगों को आशीर्वाद समारोह के लिए निमंत्रण भेजा हो मगर कोविड के समय संपर्क में आए एक साधारण कार्यकर्ता को याद करना अपने आप में बहुत बड़ी घटना है.
भारतीय जनता पार्टी के सदस्यता अभियान में मेरे प्रिय प्रधानमंत्री जी ने कहा था कि “हमारे परिवार में जब किसी का जन्म होता है तब जितनी खुशी होती है या हमारे परिवार में जब शादी करके कोई बहु आती है तो परिवार के विस्तार का जो आनंद होता है वो आनंद बीजेपी में नए सदस्य बनने पर परिवार के विस्तार का आनंद होता है.” आपका यह स्नेहिल निमंत्रण मेरे हृदय को वैसा ही विस्तार देता है. यह अनुभव मेरे जीवन में ऐसा आनंद भर गया है जिसे जीवन पर्यंत भुलाए भी नहीं भूल सकता हूं. भारतीय जनता पार्टी के लिए सबसे बड़ी पूंजी कोई है तो उसका धरातल पर बैठा कार्यकर्ता ही उसकी सबसे बड़ी पूंजी है. आपका आमंत्रण मुझ जैसे सामान्य कार्यकर्ता को नवीन ऊर्जा देता है.
पिछले एक साल से एक प्रतिष्ठित मिडिया कर्मी का एक्स हैंडल (ट्विटर) पर अपनी सेवा दे रहा हूं इसलिए आपकी प्रत्येक गतिविधि पर नज़र रहती है. हरियाणा चुनाव में रणनीतिक कार्य, दिल्ली विधानसभा चुनाव में दो महीने के लिए प्रवास पर रहना, जन्मदिन के दिन बाड़मेर में बच्चियों के खाते खुलवाना, आशीर्वाद समारोह में मोहिनी देवी का बड़े अक्षरों में अंकित नाम हो, नव वर्ष के ही दिन पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत और वसुंधरा राजे जी को निमंत्रण देना, जातिवादी राजनीतिक दौर में मूल्यों पर राजनीति करना, 2025 विधानसभा चुनावों में पराजय के बाद लिखित संदेश हो या उसके बाद भी निरंतर हो रही जनसेवा आदि सब ने मुझ जैसे सामान्य व्यक्ति को बहुत कुछ सिखाया है.
आपके राजनीतिक कद को कोई एक विधानसभा चुनाव का परिणाम तय नहीं कर सकता है. राजनीतिक षडयंत्र और साजिशें कभी कभी आंकड़ों से तो पराजित कर सकती है परंतु जो नेतृत्व पद मोह से मुक्त होकर सेवा को ही जीवन ध्येय समझता हो उसको कभी पराजित नहीं कर सकती है. सतीश जी का जीवन, निष्ठा, त्याग, समर्पण, सेवा, सादगी, जिजीविषा, मेहनत, लग्न, उत्साह, एक निष्ठता और भारत प्रथम के मूल्य मेरे जीवन का आधार बन रहे रहे है. आपका निमंत्रण मेरे लिए महज बुलावा भर नहीं रहा मेरे जीवन में उसका महत्व सदा सदा के लिए स्वर्ण अक्षरों में अंकित हो गया है. आपका याद करना अब मुझे कभी आपको भूलने न देगा. आपके आगामी जीवन की सर्वोच्चता हेतु जगत् जननी जगदंबा से प्रार्थना करते हुए युगल को नव विवाहित जीवन के लिए खूब खूब मंगलकामनाएं. आपके पूरे परिवार के प्रति अपनी पूर्ण कृतज्ञता प्रकट करता हूं.